छपरा में अधिकारियों ने एक क्वारंटाइन सेंटर (Quarantine Centre) में मजदूरों को चादर की बजाय कफन का कपड़ा सौंप दिया. इसके बाद सेंटर में हंगामा होने लगा.
छपरा में अधिकारियों ने एक क्वारंटाइन सेंटर (Quarantine Centre) में मजदूरों को चादर की बजाय कफन का कपड़ा सौंप दिया. इसके बाद सेंटर में हंगामा होने लगा.
Bihar18:-
इसुआपुर प्रखंड के महुली चकहन हाई स्कूल स्थित क्वारंटाइन सेंटर की बदहाली
छपरा. बिहार के बाहर से आने वाले प्रवासी मजदूरों (Migrant Workers) को क्वारंटाइन सेंटर में सुविधा देने का दावा लाख कर लिया जाए लेकिन अधिकारियों की लापरवाही के कारण सरकार के तमाम दावे हवाई साबित हो रहे हैं. ऐसी ही एक अजीबोगरीब लापरवाही बिहार के छपरा में सामने आई जहां अधिकारियों ने एक क्वारंटाइन सेंटर (Quarantine Centre) में मजदूरों को चादर की बजाय कफन का कपड़ा सौंप दिया. इसके बाद सेंटर में हंगामा होने लगा.
आभास होने पर मजदूरों ने कफन की बनी चादरों को फेंका
इसके बाद मजदूरों ने कफन की बनी चादरों को बिस्तर से उतारकर स्कूल के गेट पर फेंक दिया और घर के बिछवान मंगा लिया जिससे सिस्टम पर सवाल उठाने लगे. एक मजदूर की माने तो वह बीते शुक्रवार को सुबह तकरीबन ढाई या तीन बजे क्वारंटाइन सेंटर पहुंचा और जैसे ही सबों को कफन वाली चादरें ओढे सोए अवस्था मे देखा कि उसके होश उड़ गए. उसे समझ नहीं आ रहा था कि आखिर कफन ओढ़े ये क्वारंटाइन सेंटर के लिए आए हैं या मामला कुछ और है. जैसे तैसे खुद को संभाला तो उसे मालूम हुआ कि यहां सभी प्रवासियों को ओढ़ने के लिये यही दिया गया है. सभी को आभास हुआ कि ये जीते जी ओढ़ने वाली चादर नहीं है, तो सभी ने चादर फेंक दिया.